Friday 26 May 2017

// काश कुछ 'जोड़ने' के काम मोदी ने भी शुरू किये होते तो आगे भी ये मौके आते रहते ..//


आज मोदी सरकार के 'तीसरे' पर पीएम मोदी ने देश के सबसे लंबे पुल का किया उद्घाटन - ब्रह्मपुत्र नदी पर निर्मित ये पुल असम-अरुणाचल प्रदेश को 'जोड़ने' का काम करेगा .. ..

इस पुल की नींव २०११ में रखी गई थी - इसे २०१५ में पूर्ण होना था - पर अब जाकर कुछ देरी से पूर्ण हुआ है - और इसकी लागत १०००० करोड़ रूपए आई है .. ..

और इससे यकीनन क्षेत्र का विकास तो होगा .. पर योगी की तर्ज़ पर मोदी इसकी लागत और निर्माण में हुई देरी के लिए जांच तो बैठा ही सकते हैं .. और अपनी पीठ तो ठोंक ही सकते हैं .. ..

पर मैं सोच रहा था कि - काश कुछ 'जोड़ने' के काम मोदी ने भी शुरू किये होते तो आगे भी ये मौके आते रहते .. लेकिन अब तो लगता है आने वाले पीएम शौचालयों का उद्घाटन ही कर पाएंगे .. .. या मोदी द्वारा की गई 'टूट-फूट' को 'जोड़ने' के कार्यक्रम करना पड़ेंगे .. जैसे समाज को पुनः जोड़ने के कार्यक्रम !! .. है ना !! .. ../

मेरे दिमाग की बातें - दिल से .. ब्रह्म प्रकाश दुआ

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