Saturday 1 December 2018

// भक्त नाहक परेशान ना हों.. मोदी के विकल्प के भी विकल्प ही विकल्प !!.. ..//


जब मोदी सत्ता में आए थे तो भक्त कहते थे.. मोदी के अलावा तो कोई विकल्प था ही नहीं !!..

पर जब १-२ साल बाद मोदी की कलई खुलने लगी तो भक्त कहने लगे.. मोदी अच्छे हैं और ठीक-ठाक काम कर रहे हैं - इसलिए अभी मोदी के विकल्प की आवश्यकता नहीं !!..

और जब २-३ साल बाद मोदी नाकारा साबित होने लगे तो भक्त कहने लगे.. विपक्ष में भी कोई काबिल नहीं - इसलिए अभी तो मोदी का कोई विकल्प नहीं - हो तो बताओ ??..

और फिर जब ३-४ साल बाद मोदी नाकारा और विफल साबित हो गए तो भक्त कहने लगे कि.. माना मोदी उतने सफल नहीं हो सके - पर यदि उनको हटाना हो तो फिर उनका कोई भी विकल्प हो तो सुझाओ.. क्या राहुल गांधी उनका विकल्प हो सकते हैं ??..

और फिर अब जब पूरे ४.५ साल बाद ये स्पष्ट होने लगा है कि मोदी तो हानिकारक हैं - तो भक्त अब दबी जुबान कहने लगे हैं कि.. अब करें तो क्या करें ??.. अब मोदी का भाजपा में भी कोई विकल्प नहीं दिख रहा !!..

और मुझे लगता है कि भक्त ऐसा इसलिए कह रहे हैं क्योंकि शायद भक्तों को भी लगातार ताने और कटाक्ष और व्यंग्य और सत्य सुन-सुन कर - और हिकारत और हास्य के पात्र बनने के बाद ये अहसास हो गया है कि - क्योंकि सुषमा स्वराज जेटली राजनाथ गडकरी रविशंकर प्रसाद पियूष गोयल पर्रिकर अमित शाह आदि में कोई भी ऐसा नहीं है जो मोदी के समान लोगों को बेवकूफ बनाने की कला रखता हो.. इसलिए भाजपा में भी मोदी का विकल्प मिलना तो असंभव ही होगा..

और मैं भक्तों से पहली बार सहमत हो भक्तों को ढांढस बंधाते हुए उन्हें यह कहना चाहूंगा कि.. फिलहाल अपना संक्षिप्त दिमाग फ़ोकट खर्च मत करो और ये विकल्प-विकल्प रटना  बंद करो.. क्योंकि अब तो मोदी का जाना यूँ भी तय हो गया है.. और मोदी के जाने के बाद भारत जैसे देश में उनकी कुर्सी खाली रह जाए ऐसा तो असंभव ही है.. क्योंकि यदि कोई और नहीं मिलेगा तो भी - 'आप' तो है ना.. और यदि नहीं तो फिर हम तो हूँ ना !!.. अन्यथा वैसे तो भक्तों आप स्वयं भी कोई मोदी से बुरे नहीं - तो आप ही सही.. है ना !!..

ब्रह्म प्रकाश दुआ
'मेरे दिमाग की बातें - दिल से':- https://www.facebook.com/bpdua2016/?ref=hl

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