Saturday 2 January 2016

// नज़रें कुछ यूँ मिलीं - पडोसी से रिश्ते - कुछ प्यार के - कुछ तकरार के ....//


अब समाचार आ गया है कि पठानकोट में आतंकी हमला हो गया है .... और किसी ने भी अभी तक केजरीवाल या किसी अन्य भारतीय पाकिस्तानी एजेंट पर इस हमले का दोष नहीं मढ़ा है .... इसलिए स्पष्ट होता है कि इस हमले में हमारे प्यारे पडोसी पाकिस्तान का हाथ है ....

और सरकार की तरफ से तैयार जवाब आता ही होगा कि - मोदी की पहल पर शुरू शांति वार्ता से बौखलाए आतंकियों की ये छटपटाहट है .... और सरकार को बिना किसी छटपटाहट दुःख है कि - इधर हमारे जवान छटपटा शहीद हो गए ....

खैर जवाब और बयान जिन शब्दों में भी आए - मजबूर सरकार की मजबूरी के कारण उसका लुब्बेलुबाब जो होगा वो मैं मेरे तकरारी-टकरारी दिमाग में बड़े प्यार से स्वतः उपजे एक ताज़ा शेर के माध्यम से बयान करता हूँ - जो आदरणीय मोदी जी और सुषमा जी को समर्पित है .... कृपया गौर फरमाएं ....

ना नज़रे उठीं - ना नज़रें झुकीं - बस नज़रें कुछ यूँ मिलीं ....
हमारे पडोसी से रिश्ते - कुछ प्यार के - कुछ तकरार के ....

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