Wednesday 11 March 2015

//// कोयला घोटाला .... कालिख कई जगह चिपकी है .... गुनाह आज भी जारी हैं .... सावधान !!....////


और अंततः कोयला घोटाले में पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहनसिंह को न्यायलय द्वारा बतौर आरोपी समन जारी हुआ है ....

दिन-ब-दिन यह सत्य पुष्ट होता चला गया है कि कोयला खदान आवंटन में वृहद घोटाला हुआ था - और यह कोयला घोटाला इतना व्यापक था कि इसमें सभी पार्टियां और प्रभावी नेता और उद्योगपति और बड़े छोटे कई अफसर शामिल थे - पाए गए थे - और आरोपित हुए थे / हैं - और आगे भी और चेहरे निश्चित ही सामने आएँगे .... क्योंकि कालिख तो कई जगह चिपकी हुई है !!!! है ना !!!!

इस विषयक ये भी कहना चाहूँगा कि यदि ये घोटाला आज उजागर होता चला गया है तो इसका श्रेय न्यायालय मीडिया और 'योग संयोग' को ही जाता है .... परन्तु किसी भी नेता को या किसी पार्टी को इसका श्रेय नहीं दिया जा सकता .... बल्कि इसके उलट इस स्पष्ट विदित घोटाले में अब तक हुए विलम्ब का अपश्रेय जरूर इस घोटाले में लिप्त या सम्बद्ध कुछ नेताओं और पार्टियों को ही जाता है !!!!

मित्रो इस विषयक मैं थोड़ा सा इतर आज यह भी कहना चाहूँगा कि कांग्रेस सरकार के हारने का कारण यह था कि भ्रष्टाचार हुआ था - और वह उजागर भी हो चला था - और जनता की समझ में भी आ गया था .... और कांग्रेस के हारने का कारण ही भाजपा के जीतने का कारण हो गया था .... और उसमें मोदी जी के भाषणों की शैली और उनकी वाकपटुता के कारण जनता का जो विश्वास मोदी जी में स्थापित हुआ था वह ही अंततः प्रचंड जीत का कारण बना था .... अस्तु भजपा की मोदी सरकार का जीतने का कारण भाजपा या मोदी का कोई सद्कर्म कदापि नहीं था ....

और इसलिए अब जबकि मोदी सरकार अपने वायदे पर खरी नहीं उत्तर पाई है - मोदी जी की शैली अप्रभावी हो चली है - और मोदी सरकार द्वारा अभी तक ना तो पूर्व भ्रष्टाचार के किसी भी मामले में प्रभावी कार्यवाही की गई है - ना ही होती दिख रही है - ना ही किसी को जेल भेजा गया है - ना ही भ्रष्टाचार को रोकने के लिए ही कोई कार्यवाही की गई है - इसलिए मुझे लगता है मोदी सरकार की भी उलटी गिनती चालू है !!!!

विदित हो कि घोटाले तो इस देश में अनवरत होते ही रहे हैं - घोटालों में लोग आरोपित भी होते रहे हैं - और फंसते भी रहे हैं - परन्तु बचते भी तो रहे हैं !! .... पर अब शायद जनता में भी जागरूकता आने के कारण और मीडिया के प्रभावी होने के कारण घोटालों में लोगों का फंस कर फंसते ही चले जाना भी शुरू हुआ है और सजा होना भी शुरू हुआ है .... इसलिए आज जो कुछ हुआ है ये बहुत ही शुभ संकेत हैं - और इसका स्वागत ही होना चाहिए !! आशा है यही कालिख अब चादर को श्वेत रखने में भी मदद करेगी !!!!

लेकिन अंत में इस विषयक मेरे दिल दिमाग की बात भी स्पष्ट कर दूँ कि -  मेरी निजी राय में मनमोहनसिंह गुनहगार तो हैं पर शायद उनके द्वारा किया गया भ्रष्टाचार निजी ना होकर उनकी पार्टी या आकाओं के पक्ष में उनके आकाओं के इशारों या निर्देशों पर ही किया गया होगा ....
और निश्चित ही ऐसे ही गुनाह आज भी जारी हैं .... गुनहगारों की चालाकियां भी और बढ़ गई हैं - और उद्योगपतियों की लिप्तता भी अधिक ही दिख पड़ रही है .... 'खदान आवंटन' और 'भूमि अधिग्रहण' में भिन्नता भी कहाँ अधिक है ??
अतः अब तो हमको और भी सावधान होने और रहने की आवश्यकता है !!!! धन्यवाद !!!!
\\ब्रह्म प्रकाश दुआ\\

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